सामान्य वर्ग से ज्यादा अंक वाले आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों को कंप्यूटर टेस्ट में शामिल करने के आदेश

राजस्थान हाईकोर्ट ने कनिष्ठ न्यायिक सहायक भर्ती-2022 में सामान्य वर्ग की कट ऑफ से अधिक अंक लाने वाले आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों को राहत दी है। अदालत ने कहा है कि आरक्षित वर्ग के जिन याचिकाकर्ता अभ्यर्थियों ने आयु सीमा और योग्यता में छूट का लाभ नहीं लिया है, उन्हें कंप्यूटर टेस्ट में शामिल किया जाए। एक्टिंग सीजे एमएम श्रीवास्तव और जस्टिस अनिल उपमन की खंडपीठ ने यह आदेश पंकज व अन्य की याचिका पर सुनवाई करते हुए दिए।

याचिका में अधिवक्ता रामप्रताप सैनी ने अदालत को बताया कि हाईकोर्ट प्रशासन ने कनिष्ठ न्यायिक सहायक के 1985 पदों के लिए वर्ष 2022 में भर्ती निकाली। जिसकी लिखित परीक्षा गत 12 मार्च को हुई। वहीं एक मई को परिणाम जारी कर वर्ग वार कट ऑफ जारी कर दी। जिसमें सामान्य वर्ग की कट ऑफ 196.34, ओबीसी वर्ग की 230.44, एससी वर्ग की कट ऑफ 202.43 और एमबीसी वर्ग की कट ऑफ 203.35 सहित आर्थिक पिछड़ा वर्ग की कट ऑफ 224.53 रखी गई। 

याचिका में कहा गया कि हाईकोर्ट प्रशासन ने सामान्य वर्ग से अधिक अंक और अपने वर्ग से कम कट ऑफ वाले अभ्यर्थियों को चयन से बाहर कर दिया। जबकि नियमानुसार ऐसे अभ्यर्थियों को सामान्य वर्ग में शामिल किया जाना चाहिए। याचिका में कहा गया कि इस भर्ती में लिखित परीक्षा और कंप्यूटर टेस्ट के अंक जोडकर मेरिट बनेगी। ऐसे में यह स्क्रीनिंग टेस्ट नहीं था। इसलिए जहां लिखित परीक्षा के अंक जोडकर मेरिट बनती है, उन भर्तियों में अधिक अंक लाने वाले आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों को सामान्य वर्ग में शामिल किया जाता है। जिस पर सुनवाई करते हुए अदालत ने आयु सीमा और योग्यता में आरक्षित वर्ग का लाभ नहीं लेने वाले अभ्यर्थियों को कंप्यूटर टेस्ट में शामिल करने को कहा है।

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