कलकत्ता हाई कोर्ट ने गुरुवार को पश्चिम बंगाल सरकार को राज्य कर्मचारियों की संयुक्त कार्रवाई समिति के प्रतिनिधियों से मिलने का निर्देश दिया, जो केंद्र के बराबर उच्च महंगाई भत्ते की मांग कर रहे हैं।
कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश टीएस शिवगणमन और न्यायमूर्ति हिरण्मय भट्टाचार्य की खंडपीठ ने आदेश दिया कि राज्य के प्रमुख और गृह सचिव समिति के तीन प्रतिनिधियों से मिलें और 17 अप्रैल, 2023 तक समाधान निकालें।
यह आदेश अधिवक्ता रामप्रसाद सरकार द्वारा दायर एक जनहित याचिका के बाद आया जिसमें मामले में हस्तक्षेप की मांग की गई थी।
लगभग 70 दिनों के लिए उच्च डीए की मांग के समर्थन में इसके कई कर्मचारियों के काम बंद करने से एचसी का सामान्य कामकाज प्रभावित हुआ है।
पीठ ने कहा कि इसे जारी रखने की अनुमति नहीं दी जा सकती और राज्य सरकार को आदेश दिया कि वह विरोध कर रहे कर्मचारियों के साथ बैठे और समाधान निकाले।
अदालत ने महाधिवक्ता एस एन मुखर्जी से यह भी जानना चाहा कि काम बंद होने के कारण अनुपस्थित रहने वाले सरकारी कर्मचारियों की संख्या कितनी है। महाधिवक्ता ने जवाब दिया कि बायोमेट्रिक प्रणाली के अभाव में सटीक गणना का पता नहीं लगाया जा सकता है।