सुप्रीम कोर्ट इस महीने के अंत में त्रिपुरा में ग्राम समिति चुनावों में देरी से जुड़ी एक याचिका पर सुनवाई करेगा। टिपरा मोथा पार्टी के प्रमुख प्रद्योत देबबर्मा ने मंगलवार को यह जानकारी दी।
त्रिपुरा जनजातीय क्षेत्र स्वायत्त जिला परिषद (TTAADC) क्षेत्र की 587 ग्राम समितियों के चुनाव मार्च 2021 से लंबित हैं। इस अभूतपूर्व देरी ने राज्य में स्थानीय स्वशासन की प्रक्रिया को प्रभावित किया है।
प्रद्योत देबबर्मा ने फेसबुक पोस्ट में कहा, “माननीय मुख्य न्यायाधीश ने आज सुप्रीम कोर्ट में हमारी मेंशनिंग सुनी है और ग्राम समिति चुनावों की सुनवाई इस माह की 27 या 28 तारीख को होगी। ग्राम समिति चुनाव कराने में हुई यह देरी संभवतः भारत के लोकतांत्रिक इतिहास में सबसे लंबी देरी में से एक है।”

इससे पहले त्रिपुरा हाईकोर्ट ने राज्य चुनाव आयोग और राज्य सरकार को निर्देश दिया था कि वे नवंबर 2022 तक ग्राम समिति चुनाव कराएं। हालांकि, विभिन्न कारणों से अब तक चुनाव नहीं हो पाए हैं।
जहां ग्राम समिति चुनाव पिछले चार वर्षों से अटके हुए हैं, वहीं टीटीएएडीसी (TTAADC) के चुनाव अगले वर्ष की शुरुआत में होने प्रस्तावित हैं। इस लम्बे विलंब ने जनजातीय क्षेत्रों में स्थानीय निकायों की लोकतांत्रिक व्यवस्था को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।