इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ पीठ ने सुनवाई के लिए समय की कमी के कारण कांग्रेस सांसद राकेश राठौर की जमानत याचिका को 24 फरवरी तक टाल दिया है। मामले की सुनवाई कर रहे न्यायमूर्ति राजेश सिंह चौहान ने संबंधित पक्षों को स्थगित तिथि से पहले अपने जवाब प्रस्तुत करने का निर्देश दिया।
यौन शोषण के आरोपों का सामना कर रहे राठौर को 29 जनवरी को अदालत द्वारा अग्रिम जमानत खारिज किए जाने के तुरंत बाद 30 जनवरी को गिरफ्तार किया गया था। जमानत खारिज होने के बाद उन्हें बाद में न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। गिरफ्तारी उनके आवास पर आयोजित एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान हुई, जिसके बाद 23 जनवरी को सीतापुर में एमपी/एमएलए अदालत द्वारा उनकी अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी गई।
राठौर के खिलाफ मामला 15 जनवरी को एक महिला द्वारा लगाए गए आरोपों से उपजा है, जिसमें दावा किया गया था कि राठौर ने चार साल तक उसका यौन शोषण किया। अपनी शिकायत में उसने राठौर पर शादी के वादे और उसके राजनीतिक करियर को आगे बढ़ाने में मदद करने के नाम पर कई बार बलात्कार करने का आरोप लगाया है।
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शिकायत और उसके बाद की कानूनी कार्यवाही के बाद, राठौर को सीतापुर जिला जेल में हिरासत में रखा गया है। अधिवक्ता अरविंद मसदलान और दिनेश त्रिपाठी की उनकी कानूनी टीम ने पहले 20 जनवरी को सीतापुर अदालत से अग्रिम जमानत मांगी थी, जो अंततः असफल रही।